जनम-जनम माँगूंगी तुझको, तू मुझको ठुकराना
मैं माटी में मिल जाऊँगी तू माटी हो जाना
लहर के आगे क्या इक तिनके की औक़ात
सजन, मैं भूल गयी यह बात
~ वसीम बरेलवी
Jun 11, 2014
मैं माटी में मिल जाऊँगी तू माटी हो जाना
लहर के आगे क्या इक तिनके की औक़ात
सजन, मैं भूल गयी यह बात
~ वसीम बरेलवी
Jun 11, 2014
No comments:
Post a Comment