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Friday, April 3, 2015

ज़ख़्म जो आप की इनायत है



ज़ख़्म जो आप की इनायत है इस निशानी को नाम क्या दे हम
प्यार दीवार बन के रह गया है इस कहानी को नाम क्या दे हम

आप इल्ज़ाम धर गये हम पर एक एहसान कर गये हम पर
आप की ये मेहरबानी है मेहरबानी को नाम क्या दे हम

आपको यूँ ही ज़िन्दगी समझा धूप को हमने चाँदनी समझा
भूल ही भूल जिस की आदत है इस जवानी को नाम क्या दे हम

रात सपना बहार का देखा दिन हुआ तो ग़ुबार सा देखा
बेवफ़ा वक़्त बेज़ुबाँ निकला बेज़ुबानी को नाम क्या दे हम

~ सुदर्शन फ़ाकिर
 

  Sep 3, 2012| e-kavya.blogspot.com
  Submitted by: Ashok Singh

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